माल एवं सेवा कर (GST) प्रणाली के तहत 50,000 रुपए से अधिक कीमत के माल को एक राज्य से दूसरे राज्य ले जाने के लिए ई-वे बिल रखना जरूरी होता है.
मैन्युफैक्चरिंग, सर्विजेज, GST, कार्ड पेमेंट, CVs, ज्वैलरी, इलेक्ट्रॉनिक्स और रिटेल उत्पादों की बिक्री से अर्थतंत्र में तेज सुधार होने की उम्मीद है.
चालू वित्त वर्ष की जून तिमाही में शुद्ध अप्रत्यक्ष कर (जीएसटी और गैर-जीएसटी) राजस्व संग्रह 3.11 लाख करोड़ रुपये था.
कोविड की दूसरी लहर का असर जुलाई में सर्विस सेक्टर पर भी देखने को मिला. IHS Markit के मुताबिक, लगातार तीसरे महीने सर्विस सेक्टर में गिरावट रही.
E-way Bill: बिल के साथ माल ढोने वाली गाड़ी पर शक होने पर अधिकारी उसे रास्ते में रुकवा सकते हैं, क्योंकि गाड़ी की रियल टाइम जानकारी उनके पास है
वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि यह सरकार के अर्थव्यवस्था को बूस्ट देने के लिए उठाए गए कदमों से ही GST कलेक्शन बढ़ा है.